लॉरेंस बिश्नोई गैंग के 4 शूटर्स गिरफ्तार,6 पिस्तौल के साथ 26 गोलियां बरामद
लॉरेंस बिश्नोई गिरोह के चार संदिग्ध शूटरों को गिरफ्तार किया गया है। उनके पास से छह पिस्तौल और 26 जिंदा कारतूस बरामद किए गए हैं। पंजाब पुलिस ने सोमवार को यह जानकारी दी। पुलिस महानिदेशक गौरव यादव ने कहा कि आरोपियों के खिलाफ पंजाब और हरियाणा में कई आपराधिक मामले दर्ज हैं।
गिरफ्तार किए गए लोगों की पहचान डेराबस्सी के सैदपुरा के रहने वाले महफूज उर्फ विशाल खान, डेराबस्सी के खेड़ी गुजरां के रहने वाले मंजीत सिंह उर्फ गुरी, पंचकूला के नारायणपुर के रहने वाले अंकित और पंचकूला के खीरी के रहने वाले गोल्डी के रूप में हुई है।
ये गिरफ्तारियां पंजाब पुलिस के एंटी-गैंगस्टर टास्क फोर्स यानी ने की हैं। डीजीपी यादव ने कहा कि विश्वसनीय जानकारी के बाद एजीटीएफ की एक टीम ने अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक प्रमोद बान की देखरेख में और सहायक महानिरीक्षक संदीप गोयल के नेतृत्व में चार शूटरों को गिरफ्तार किया है।
बताया जा रहा है कि लॉरेंस बिश्नोई ने इन शूटर्स को अपने प्रतिद्वंद्वी गिरोह के सदस्यों को नुकसान पहुंचाने का काम सौंपा था। डीजीपी ने कहा कि चारों हिस्ट्रीशीटर हैं। पंजाब और हरियाणा में उनके खिलाफ हत्या के प्रयास, कार जैकिंग और जबरन वसूली सहित जघन्य अपराधों और शस्त्र अधिनियम के तहत मामले दर्ज हैं।
पब में गोलीबारी की घटना में शामिल था विशाल
एडीजीपी बान ने बताया कि आरोपी महफूज उर्फ विशाल छह पिस्टल की बरामदगी के एक मामले में वांछित था। हालांकि, उसके सहयोगी नितीश राणा को ढकोली पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया था। मगर, तब वह मौके से फरार होने में सफल हो गया था। मार्च 2022 में मोहाली में एक पब और रेस्तरां के परिसर में हुई गोलीबारी की घटना में भी विशाल कथित रूप से शामिल था।
उन्होंने कहा कि विशाल ने गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई के निर्देश पर पैसे ऐंठने के लिए गोलियां चलाई थीं। एडीजीपी बान ने कहा कि एसएएस नगर में भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) और शस्त्र अधिनियम की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है और आगे की जांच जारी है।
Sources:AajTak