Fri. Nov 22nd, 2024

आरएसएस नेता ने फारूक अब्दुल्ला को दी देश छोड़ने की सलाह

नई दिल्ली। वरिष्ठ आरएसएस नेता इंद्रेश कुमार ने सोमवार को नेशनल कांफ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला को आड़े हाथों लिया। दरअसल फारूक अब्दुल्ला ने कहा था कि जम्मू कश्मीर की जनता को अपने अधिकार वापस पाने के लिए प्रदर्शन कर रहे किसानों की तरह ही ‘बलिदान देना होगा। संघ के नेता ने अब्दुल्ला के इसी बयान पर निशाना साधते हुए कहा कि इससे पता चलता है कि वे शांति नहीं हिंसा पसंद करते हैं। उन्होंने सलाह दी कि अगर अबदुल्ला को भारत में घुटन महसूस होती है तो देश छोड़ देना चाहिए और अपनी पसंद के अनुसार दुनिया के किसी भी हिस्से में चले जाना चाहिए।

महबूबा मुफ्ती के लिए फैशन है झूठ बोलना: आरएसएस नेता ने पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती पर भी हमला बोला जो केंद्रशासित प्रदेश की जनता के कथित दमन के खिलाफ राष्ट्रीय राजधानी में प्रदर्शन कर रहीं हैं। आरएसएस नेता ने मुफ्ती पर झूठ बोलने का आरोप लगाया और कहा कि उनके लिए झूठ बोलना एक फैशन बन गया है। उन्होंने यह भी कहा कि जम्मू कश्मीर के दोनों नेताओं को उकसाने की राजनीति बंद कर देनी चाहिए और देश की एकता और अखंडता को बनाए रखने में बाधा बनना बंद कर देना चाहिए।

यह भी पढ़ें- उत्तराखंड- नशीला पदार्थ खिलाकर लुटाई ई-रिक्शा

आरएसएस नेता ने आगे कहा, ‘फारूक अब्दुल्ला ने पहले कहा था कि जम्मू कश्मीर का विशेष दर्जा बहाल करने के लिए चीन की मदद ली जाएगी। क्या हमें इसे स्वीकार करना चाहिए? कभी नहीं। यदि उन्हें यहां घुटन महसूस होता है तो वे जहां चाहते हैं वहां जाएं अरब या अमेरिका। उनकी पत्नी इंग्लैंड में रहती हैं। वहां जाकर पत्नी के साथ रहने को लेकर भी वे सोच सकते हैं। वे खुश रहेंगे।’ बता दें कि अब्दुल्ला ने रविवार को कहा था कि विशेष दर्जा की बहाली के लिए जम्मू कश्मीर की जनता को बलिदान देना पड़ सकता है जैसा कि किसानों ने किया और यह सफल हुआ। नेशनल कांफ्रेंस के संस्थापक शेख मोहम्मद अब्दुल्ला की 116वीं जयंती के अवसर पर श्रीनगर के नसीमबाग में उनके मकबरे पर पार्टी की युवा शाखा के सम्मेलन को संबोधित करते हुए अब्दुल्ला ने यह भी कहा था कि उनकी पार्टी हिंसा का समर्थन नहीं करती है।

यह भी पढ़ें 👉 खुशखबरी: उत्तराखंड के जिला सहकारी बैंकों में 428 पदों पर भर्ती का रास्ता साफ

वहीं मुफ्ती ने केंद्रशासित प्रदेश के लोगों के कथित दमन के विरोध में सोमवार को यहां जंतर मंतर पर धरना दिया था और कहा था कि निर्दोषों की हत्या तत्काल रोकी जानी चाहिए। RSS नेता ने आगे कहा, ‘फारूक अब्दुल्ला ने पहले कहा था कि जम्मू कश्मीर का विशेष दर्जा बहाल करने के लिए चीन की मदद ली जाएगी। क्या हमें इसे स्वीकार करना चाहिए? कभी नहीं। यदि उन्हें यहां घुटन महसूस होता है तो वे जहां चाहते हैं वहां जाएं अरब या अमेरिका । उनकी पत्नी इंग्लैंड में रहती हैं। वहां जाकर पत्नी के साथ रहने को लेकर भी वे सोच सकते हैं। वे खुश रहेंगे।’

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *