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संविधान से सरोकार और सेवा की भावना: लोकसभा अध्यक्ष ने दिए प्रशासनिक मूल्यों के मंत्र

मसूरी  : लाल बहादुर शास्त्री राष्ट्रीय प्रशासन अकादमी (एलबीएसएनएए) में शुक्रवार को 127वें इंडक्शन प्रशिक्षण कार्यक्रम का समापन हुआ। यह प्रशिक्षण कार्यक्रम राज्य सिविल सेवाओं से भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) में पदोन्नत अधिकारियों के लिए आयोजित किया गया था, जो न केवल प्रशासनिक दक्षता बढ़ाने बल्कि नीतिगत दृष्टिकोण को व्यापक बनाने के उद्देश्य से संचालित किया जाता है। इस कार्यक्रम में देश के 19 विभिन्न राज्यों से चयनित कुल 97 वरिष्ठ अधिकारी शामिल हुए, जो अपने-अपने राज्यों में वर्षों से प्रशासनिक सेवाओं में कार्यरत हैं और अब आईएएस के रूप में अपनी नई भूमिका की ओर अग्रसर हैं।

समापन समारोह में बतौर मुख्य अतिथि लोक सभा अध्यक्ष ओम बिरला ने हिस्सा लिया। उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि लोकतंत्र की सफलता केवल निर्वाचन प्रक्रिया तक सीमित नहीं है, बल्कि यह प्रशासनिक प्रणाली की पारदर्शिता, जवाबदेही और संवेदनशीलता पर भी निर्भर करती है। उन्होंने प्रशिक्षु अधिकारियों से अपेक्षा जताई कि वे जनता की समस्याओं को समझने और उनके समाधान की दिशा में सक्रिय भूमिका निभाएं। बिरला ने यह भी कहा कि प्रशासनिक अधिकारी जनसेवा के माध्यम से लोकतंत्र को मजबूत बनाने की महत्वपूर्ण कड़ी हैं।

उन्होंने इस अवसर पर अधिकारियों को संविधान की भावना को आधार बनाकर निर्णय लेने की सलाह दी और कहा कि नीतियों का निर्माण करते समय जनता की सामाजिक-आर्थिक पृष्ठभूमि को ध्यान में रखना चाहिए। लोक सभा अध्यक्ष ने तकनीक के प्रभावी उपयोग, शासन में पारदर्शिता और क्षेत्रीय विविधताओं के प्रति संवेदनशील प्रशासनिक दृष्टिकोण की आवश्यकता पर भी बल दिया।

अकादमी के निदेशक ने बताया कि प्रशिक्षण कार्यक्रम के दौरान अधिकारियों को सार्वजनिक नीति, शासन की समकालीन चुनौतियां, डिजिटल प्रशासन, सतत विकास लक्ष्य, बजट प्रबंधन, नेतृत्व कौशल, नैतिक प्रशासन और भारत की शासन प्रणाली की संवैधानिक रूपरेखा जैसे विषयों पर गहन प्रशिक्षण प्रदान किया गया। इस अवधि में अधिकारियों को देश के विभिन्न हिस्सों में फील्ड विजिट और केस स्टडी आधारित लर्निंग के ज़रिए भी व्यावहारिक अनुभव दिलाया गया, जिससे वे बेहतर तरीके से जनता से जुड़ी समस्याओं को समझ सकें और नीति क्रियान्वयन में अधिक दक्ष हो सकें।

इस अवसर पर प्रशिक्षु अधिकारियों ने भी अपने अनुभव साझा किए और बताया कि यह प्रशिक्षण उनके प्रशासनिक दृष्टिकोण को नए आयाम देने वाला रहा। कई अधिकारियों ने कहा कि नीतिगत विषयों की समझ, नेतृत्व की व्यावहारिक चुनौतियां और निर्णय लेने की प्रक्रिया में मिली गहराई उन्हें भविष्य की जिम्मेदारियों के लिए बेहतर रूप से तैयार करेगी।

समापन समारोह के अंत में प्रतिभागियों को प्रमाणपत्र भी वितरित किए गए। एलबीएस एकेडमी का यह इंडक्शन कार्यक्रम देश की प्रशासनिक संरचना को और अधिक सुदृढ़ और उत्तरदायी बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। यह कार्यक्रम इस बात का उदाहरण है कि प्रशासनिक अधिकारियों को निरंतर शिक्षा और प्रशिक्षण के माध्यम से सशक्त करना लोकतांत्रिक व्यवस्था के लिए कितना आवश्यक है।

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